रानीकीसराय आजमगढ़ (सृष्टिमीडिया)। ग्रामीण पत्रकार एसोसिएशन की जिला इकाई द्वारा प्रदेश अध्यक्ष के निर्देश पर 16 सितंबर को मुख्यमंत्री के नाम संबोधित जिलाधिकारी को एसोसिएशन की सात सूत्रीय मांगों का ज्ञापन सौंपा जायेगा।
जिलाध्यक्ष बृजभूषण उपाध्याय ने कहा कि ग्रामीण पत्रकार एसोसिएशन, उत्तर प्रदेश के लिए राज्य मुख्यालय लखनऊ में शासन की ओर से अन्य संगठनों की भांति कार्यालय हेतु भवन का आवंटन दारुलसफा या ओसीआर में किया जाए। जिससे सुदूर जनपदों से आने वाले पत्रकारों को रुकने तथा प्रदेश स्तरीय बैठक करने की समस्या का निदान हो सके। मान्यता-प्राप्त पत्रकारों की तरह ही ग्रामीण पत्रकारों को भी आयुष्मान भारत योजना का लाभ दिया जाए, ताकि वह और उनका परिवार मुफ्त कैशलेश इलाज करा सके। इस योजना में केवल अखबारों में कार्यरत संवाददाताओं को शामिल किया जाए, जिनकी सूची जिला सूचना कार्यालय से प्राप्त की जा सकती है। ग्रामीण पत्रकारों को शासन स्तर से बीमा योजना में शामिल किया जाए। साथ ही लंबे समय से आंचलिक पत्रकारिता कर रहे 60 वर्षीय बुजुर्ग ग्रामीण पत्रकारों को पेंशन योजना का लाभ दिया जाए। इनकी सूची भी जिला सूचना कार्यालय के माध्यम से तैयार की जाए। ग्रामीण पत्रकारों के विरुद्ध कोई भी प्राथमिकी दर्ज करने से पूर्व जिला पुलिस के किसी राजपत्रित अधिकारी द्वारा अनिवार्य रूप से जांच की जाए, ताकि पत्रकारों का अनावश्यक उत्पीड़न रोका जा सके। राज्य एवं जिला स्तर पर स्थायी समिति की भांति तहसील स्तर पर भी प्रशासनिक अफसरों के साथ ग्रामीण पत्रकारों की नियमित बैठकें कराई जाएं। शासन के निर्देशानुसार ग्रामीण पत्रकार एसोसिएशन के सभी संबंधित तहसील अध्यक्षों को इसमें अनिवार्य रूप से शामिल किया जाय।
प्राकृतिक आपदा या दुर्घटना में मृत ग्रामीण पत्रकार के परिजनों को किसान बीमा योजना की तरह तत्काल पांच लाख रुपये की सहायता प्रदान की जाए। इसके अतिरिक्त मुख्यमंत्री राहत कोष से 20 लाख रुपये की आर्थिक मदद दी जाए, ताकि शोकग्रस्त परिवार को संकट की घड़ी में सहारा मिल सके।
ग्रामीण क्षेत्रों में अवैध वसूली करने वाले फर्जी पत्रकारों की शिनाख्त कर उनके विरुद्ध कठोर कार्रवाई की जाए। इसके लिए जिला स्तर पर स्थायी समिति की बैठक बुलाकर असली और फर्जी पत्रकारों की पहचान की जाए तथा चिन्हित व्यक्तियों को नोटिस देकर तत्काल प्रभावी कार्रवाई की जाए। उक्त मागों को लेकर प्रदेश नेतृत्व के आह्वान पर जिलाधिकारी को पत्रक देकर मांग शासन तक पहुचाई जायेगी।
रिपोर्ट-प्रदीप वर्मा