डीएम कार्यालय पर परिजनों संग जान देने पहुंचा पीड़ित

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आजमगढ़। कलेक्ट्रेट परिसर में उस समय अफरा-तफरी का माहौल पैदा हो गया, जब एक पीड़ित अपने परिवार सहित जहर खाकर जान देने की कोशिश किया। पीड़ित द्वारा जहरीला पदार्थ को निगलने की कोशिश की गयी। मौके पर तैनात गार्ड ने तत्परता दिखाते हुए उसे बचा लिया और पुलिस को सूचना दिया। सूचना पर मौके पर कोतवाल, सिविल लाइन चौकी इंचार्ज पहुंच गये। पुलिस ने पीड़ित को परिवार सहित हिरासत में ले लिया। पीड़ित का आरोप है कि बंटवारे को लेकर मंडलायुक्त और जिलाधिकारी के आदेश के बावजूद स्थानीय लेखपाल द्वारा पैमाइश के नाम पर उससे तीस हजार रूपये रिश्वत की मांग की जा रही है।
कलेक्ट्रेट परिसर में जर्नादन गिरी पुत्र स्व.दूधनाथ गिरी निवासी खासबेगपुर पोस्ट मनियारपुर तहसील निजामाबाद अपनी पत्नी और दो बच्चों सहित पहुुंचा। हाथ में विषाक्त पदार्थ लेकर परिवार सहित जान देने के लिए उसे पीने जा रहा था। उसे ऐसा करते मौके पर तैनात सुरक्षाकर्मी ने उसे पकड़ लिया और पुलिस को सूचना दिया। सूचना पर पहुंची पुलिस ने जनार्दन को परिवार सहित हिरासत में ले लिया। पीड़ित जनार्दन गिरी ने आरोप लगाया कि मंडलायुक्त और जिलाधिकारी द्वारा आदेश किये जाने के बावजूद लेखपाल प्रिंस गुप्ता द्वारा पैमाइश के नाम उससे 30 हजार रूपये की मांग की गयी। पीड़ित द्वारा उसे किसी तरह 5 हजार रूपये की व्यवस्था करके दिया गया। लेखपाल द्वारा 5 जुलाई को भी पैमाइश नहीं की गयी और शेष घूस की रकम की व्यवस्था करने का दबाव बनाया जाने लगा। थक हार कर पीड़ित द्वारा पूरे परिवार सहित जान देने का मन बनाया गया। पीड़ित ने बताया कि वह थाने से लेकर बड़े अधिकारियों को कई बार प्रार्थना पत्र दिया लेकिन उसे न्याय नहीं मिला।

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