ईद उल फितर का असल अर्थ दिल से एक दूसरे को माफ करना

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लालगंज आजमगढ़ (सृष्टिमीडिया)। क्षेत्र में ईद उल फितर की नमाज शांति पूर्वक अदा करके मुसलमानों ने एक दूसरे को गले लगा कर ईद की मुबारकबाद दी। इस अवसर पर एसडीएम, कोतवाल देवगांव विमल प्रकाश राय हमराहियों के साथ लगातार चक्रमण करते रहे। ईदगाह के बाहर मेले जैसा समां दिखाई दिया और बच्चों के मनपसंद गुब्बारे तथा अन्य सामान खरीदते हुए देखे गए। बच्चे गुब्बारा तथा खिलौना आदि खरीद कर पर्व की खुशियां मना रहे हैं और क्षेत्र में अमन और शांति के बीच ईद उल फितर का पर्व मनाया जा रहा है।
देवगांव जमीनसीर ईदगाह पर सुबह साढ़े 7 बजे अदा की जाने वाली नमाज से पूर्व ही कोतवाल देवगांव हमराहियों के साथ पहुंच गए और काफी संख्या में एकत्र हिंदू भाइयों ने नमाज अदा करने के बाद मुसलमान भाइयों के गले मिल कर उन्हें ईद उल फितर की मुबारकबाद पेश की।
ईदगाहों में इमाम हज़रात ने ईद उल फितर के संबंध में विस्तृत रूप से अवगत कराते हुए बताया कि ईद का अर्थ यह नहीं है कि हम केवल एक दूसरे के घर मीठा पकवान खाकर एक दूसरे को ऊपरी मन से रस्म निभाएं, बल्कि ईद उल फितर का असल अर्थ यह है कि आज हम दिल से एक दूसरे को माफ कर दें, हम अपनी उस सोच की कुर्बानी दे दें जो समाज के हित में न हो, आज से हम यह प्रण करें कि हम किसी का अहित नहीं होने देंगे और अल्लाह की रजामंदी के लिए हम अपना सब कुछ न्यौछावर कर देने में भी पीछे नहीं हटेंगे। बसही अकबालपुर में तकरीर करते हुए मौलाना खालिद आजमी ने कहा कि हमारा हर अमल अल्लाह की रजामंदी के लिए होना चाहिए नाम नमूद और दिखावे के लिए कोई भी अमल न करें क्योंकि दिखावा को अल्लाह पसंद नहीं करता। उन्होंने मुल्क मुल्क और विश्व में परेशान लोगों की परेशानी को दूर करने आदि के लिए दुआ कराई। देवगांव जमीनसीर ईदगाह पर विधायक बेचई सरोज मौजूद रहे। ईदगाह के बाहर हाफिज अबू ज़फ़र ने प्रशासनिक कर्मचारियों को गुलाब पेश कर ईद की शुभकामना व्यक्त की।
रिपोर्ट-मकसूद अहमद

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