रावण पर विजय प्राप्त करने हेतु श्रीराम ने की थी शक्ति देवी की आराधना: पं.कौशल किशोर

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आजमगढ़ (सृष्टिमीडिया)। शहर से सटे जाफरपुर गांव में श्रीरामकथा आयोजन समिति के तत्वाधान में चल रहे नौ दिवसीय संगीतमयी श्रीराम कथा में नौरात्र के प्रथम दिन बाल व्यास पं.कौशल किशोर जी महाराज ने कहा कि चैत्र मास में नवमी तिथि को जगद्नियंता ने श्रीराम के रूप में अवतार लिया और अश्विन मास के नवरात्र में नवमी पर्यन्त दशमी तिथि को रावण पर विजय प्राप्त कर धरती को भयमुक्त किया।
उन्होंने कहा कि एक वर्ष में चार नवरात्र आते हैं जिसमें दो प्रकट नवरात्र और दो गुप्त नवरात्र होते हैं। चैत्र नवरात्र में भगवान का जन्म होता है तो शारदीय नवरात्र में भगवान को विजय की प्राप्ति होती है। भगवान श्री रामचंद्र ने रावण पर विजय प्राप्त करने के लिए नवरात्र मंे शक्ति देवी की आराधना कर विजय को प्राप्त किया था। इस प्रकार नवरात्र के रहस्य को उद्घाटित करते हुए बाल ब्यास जी ने कहा कि यदि श्रद्धा पूर्वक मधुमास में नौ दिन तक देवी के नौ रूप की अर्चन किया जाय तो मनुष्य को अतुल पराक्रम की प्राप्ति व दुर्गम कार्य में शीघ्र सिद्धि प्राप्त होती है। इस अवसर पर राय अनूप कुमार श्रीवास्तव, टीपी सिंह, हरेंद्र पाठक, अजय वर्मा, प्रमोद वर्मा, संतोष वर्मा, संजय चौरसिया, निर्भय गाजीपुरी, रवि, चंद्र प्रकाश आदि उपस्थित रहे।
रिपोर्ट-प्रमोद यादव/ज्ञानेन्द्र कुमार

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