शांति और प्रेम के लिए प्रभु यीशु के बलिदान को मसीही समुदाय ने याद किया
वाराणसी (सृष्टि मीडिया)। बनारस में मसीही समाज ने शुक्रवार को गुड फ्राइडे पर प्रभु यीशु के बलिदान को याद किया। चर्चों में विशेष प्रार्थना हुई। गिरजाघरों में सलीब (क्रूस) यात्रा निकालकर यीशु मसीह के सात वचनों को दोहराया गया। कैंटोमेंट स्थित सेंट मेरीज चर्च बड़ा गिरजाघर में प्रभु यीशु को क्रूस पर चढ़ाए जाने का प्रतीकात्मक प्रदर्शन किया गया। यीशु को जो अमानवीय यातनाएं दी गईं थी उसे जीवंत देख आंखें भर आईं। शांति और प्रेम के लिए प्रभु यीशु के बलिदान को मसीही समुदाय ने याद किया। बिशप फादर यूजीन जोसेफ ने विशेष प्रार्थना की।
प्रभु की पीड़ा को किया याद
बतादें, लाल गिरजाघर में रेव्ह संजय दान, सेंट पॉल चर्च सिगरा में रेव्ह सैम जोशुआ सिंह, सेंट थॉमस चर्च गोदौलिया में रेव्ह न्यूटन स्टीफंस की अगुवाई में विशेष प्रार्थनाएं की गईं। प्रभु की पीड़ा को मसीही समाज ने महसूस किया। इंसानियत के दुश्मनों ने तमाम यातनाएं देने के साथ ही प्रभु यीशु को सलीब (क्रूस) पर चढ़ाया था। उस घटना को याद करते हुए दोपहर बाद चर्च में सिर्फ यही गुंज रहा था कि हे पिता मैं अपनी आत्मा तेरे हाथों में अर्पण करता हूं। हे पिता इनको क्षमा कर, क्योंकि यह नहीं जानते कि ये क्या कर रहे हैं…। दोपहर में सभी चर्चों में सभी धर्मों और दुनिया में अमन और शांति के साथ देश की खुशहाली व तरक्की के लिए के लिए प्रार्थना की गई।
बाइबिल का किया पाठ
यीशु मसीह को गुड फ्राइडे के दिन क्रूस पर चढ़ाया गया था। मसीही समुदाय गुडफ्राइडे को दुःख और शोक के साथ मनाता है। इस कारण चर्चों में ज्यादातर मसीही समाज के लोग श्वेत वस्त्रों में पहुंचे थे। उन्होंने क्रॉस को चूमकर प्रभु यीशु का स्मरण किया। बाइबिल पाठ भी किया। मान्यता है कि क्रूस पर चढ़ाए जाने के तीसरे दिन प्रभु यीशु जिन्दा हो गए थे। इसे याद करते हुए मसीही समाज रविवार को प्रभु यीशु के उठने की खुशियां ईस्टर (पुनरुत्थान दिवस) के रूप में मनाएगा। लोग भोर में कैंडल लेकर गीत गाते चर्च पहुंचेंगे। गिरजाघरों में विशेष प्रार्थना सभा का आयोजन होगा। लोग एक-दूसरे को शुभकामनाएं देंगे।