पटवध आजमगढ़ (सृष्टिमीडिया)। जिले से गुजरने वाला पहला एक्सप्रेस-वे एनएच -233 बनारस, आजमगढ़, लुंबिनी हाईवे है। इस प्रोजेक्ट की शुरुआत 2010-11 में हुई और निर्माण कार्य 2015-16 में सपा सरकार के समय शुरू हुआ इसके बाद के कई एक्सप्रेसवे शुरू हुए जो बन करके तैयार भी हो गए और उस पर आवागमन भी शुरू हो गया परंतु इस एक्सप्रेसवे का हाल अभी भी बेहाल है।
शहर से सटे भदुली के पास से मोहम्मदल्ला से लेकर मझगांवा होते हुए रानी की सराय के पास तक इसका निर्माण कार्य काफी धीमी गति से कई वर्षों से चल रहा है। वहीं दूसरी तरफ इस प्रोजेक्ट का वह हिस्सा जो जौनपुर में पड़ता है वहां तो अभी जमीन अधिग्रहण का भी शायद काम नहीं हो सका है जबकि यह नेशनल हाईवे है। एनएच-233 वाराणसी से शुरू होकर आजमगढ़ में गोमाडीह, बूढ़नपुर, अतरौलिया होते हुए लुंबिनी को जा रही है। जनपद में इसका कार्य अत्यंत धीमी गति से चल रहा है। दो कंपनियों की ओर से इसका निर्माण किया जा रहा था इसमें एक कंपनी दिलीप बिल्डकॉन अपना काम पूरा कर चुकी है वहीं दूसरी कंपनी गायत्री प्रोजेक्ट का कार्य अभी बाकी है। शहर से सटे कम्हेनपुर गांव के पास से मोहम्मदल्ला तक सड़क अभी निर्माणाधीन है। वहीं रानी की सराय क्षेत्र के मझगांव के पास रेलवे ट्रैक को पार करने के लिए ओवरब्रिज बनाया जा रहा है। इसी प्रकार कई जगहों पर अभी कार्य अधूरे पड़े हैं। वाराणसी लुंबिनी एनएच-233 को तीन पैच में तैयार करके अप्रैल 2020 तक उपयोग के लिए जनता को पूर्ण रूप से समर्पित करने की योजना बनाई गई थी। इसमें कार्यदाई संस्था को एक पैच दिसंबर, दूसरा फरवरी और तीसरा पैच अप्रैल तक तैयार कर देना था लेकिन कंपनी द्वारा लापरवाही के कारण अभी तक इसका निर्माण पूरा नहीं हो सका है। इसको लेकर आमजन में आक्रोश व्याप्त है।
रिपोर्ट-बबलू राय