महराजगंज आजमगढ़ (सृष्टिमीडिया)। जहां सरकार प्राथमिक विद्यालयों को भूकंपरोधी बनाकर बच्चों को सुरक्षित भविष्य देने का दावा कर रही है, वहीं ज़मीनी हकीकत सरकार की नीयत और कार्यशैली पर गंभीर सवाल खड़े कर रही है। प्राथमिक विद्यालय, सेमरी शिक्षा क्षेत्र महाराजगंज, का नया भवन वर्ष 2023-24 में बनाया गया था, अब दरारों और टूट-फूट की कहानी बयां कर रहा है।
ग्राम प्रधान दशरथ निषाद ने खुलासा किया कि भवन का निर्माण प्रधानाध्यापक हरिकेश यादव की देखरेख में हुआ था। उन्होंने आरोप लगाया कि निर्माण में घटिया सामग्री का इस्तेमाल किया गया, जिसमें अधिकतर सफेद बालू का उपयोग किया गया। इतना ही नहीं, विद्यालय भवन में पिलर जैसी बुनियादी संरचनाएं भी नहीं लगाई गईं।
प्रधान का आरोप है कि यह भवन जमीन की सतह से सीधे खड़ा किया गया, जिससे उसकी नींव कमजोर हो गई। दीवारों और छत में दरारें हैं, फर्श टूट रहा है, और हर जगह लापरवाही की छाप दिखाई देती है। यह स्थिति बच्चों की सुरक्षा और उनके भविष्य दोनों पर गंभीर खतरा पैदा कर रही है। ग्रामीणों ने बताया कि भवन निर्माण के समय भी अधिकारियों ने इस पर कोई ध्यान नहीं दिया।
रिपोर्ट- राजनरायन मिश्र