आजमगढ़ (सृष्टिमीडिया)। जिलाधिकारी विशाल भारद्वाज की अध्यक्षता में शुक्रवार की देर शाम कलेक्ट्रेट सभागार में चकबंदी कार्यों की समीक्षा हुई।
जिलाधिकारी ने विभागीय अधिकारियों द्वारा धीमी गति से की जा रही चकबंदी प्रक्रिया पर कड़ी नाराजगी व्यक्त किया। उन्होंने कहा कि 15 से 20 साल एवं उससे अधिक समय से लंबित ग्रामों की चकबंदी प्रक्रिया को अभियान चलाकर पूरा किया जाय। उन्होंने मुख्य राजस्व अधिकारी को निर्देश दिया कि जो अधिकारी कार्य में लापरवाही अथवा शिथिलता बरतें, उनके विरुद्ध चेतावनी जारी करें तथा कठोर कार्यवाही करते हुए एडवर्स एंट्री प्रस्तावित करें।
जिलाधिकारी ने कहा कि जिस गांव में किसी भी प्रकार का विवाद नहीं है, वहां पर त्वरित गति से चकबंदी प्रक्रिया को संपन्न कराया जाय। जिस गांव में मुकदमे चल रहे हैं, वहां जाकर उनकी समस्याओं को सुने तथा उसका निस्तारण करें।
बंदोबस्त अधिकारी चकबंदी ने जिलाधिकारी को अवगत कराया की जनपद में कुल 7 सहायक चकबंदी अधिकारी, चकबंदी कर्ता 22, लेखपाल 91, अनुरेखक 8, मानचित्रकार 2, लिपिक 27 तथा 32 चपरासी हैं। उन्होंने बताया कि 8 तहसीलों के प्रथम चक्र में 19 ग्रामों में, द्वितीय चक्र में 38 ग्राम में तथा कुल 57 ग्रामों में चकबंदी प्रक्रिया चल रही है। उन्होंने बताया कि मेहमौनी, गाहुखोर, फरीदपुर, गहजी, तथा सरदहा की चकबंदी प्रक्रिया उच्च न्यायालय के स्थगन आदेश से बाधित है। बैठक में अपर जिलाधिकारी प्रशासन अनिल कुमार मिश्र, मुख्य राजस्व अधिकारी तथा अन्य सभी संबंधित अधिकारी उपस्थित रहे।
रिपोर्ट-प्रमोद यादव/ज्ञानेन्द्र कुमार